पूर्व भारतीय क्रिकेटर और प्रसिद्ध क्रिकेट विशेषज्ञ अतुल वासन को हाल ही में एक तुलना का सामना करना पड़ा, जिसमें भारत के स्टार खिलाड़ी केएल राहुल की तुलना दिग्गज बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर से की गई। एक शो में, वासन को बताया गया कि कई प्रशंसक राहुल की स्थिति को दिल्ली कैपिटल्स में तेंदुलकर के साथ 1990 के दशक में भारतीय टीम में उनकी स्थिति के समान मानते हैं, जहां स्टार बल्लेबाज के आउट होने पर लोग अपने टीवी बंद कर देते थे। हालांकि, वासन ने इस तुलना को हंसते हुए खारिज किया और कहा कि राहुल की तुलना तेंदुलकर से नहीं की जा सकती।
वासन ने कहा, “अगर आप केएल राहुल और सचिन तेंदुलकर का एक वाक्य में जिक्र करते हैं, तो मैं चला जाऊंगा। क्या टीवी बंद हो रहा है क्योंकि केएल राहुल आउट हो रहे हैं? ये लोग कौन हैं?” उन्होंने यह बयान OTTPlay प्लेटफॉर्म पर ‘बेल्स एंड बैंटर’ शो में दिया। यह स्पष्ट है कि वासन राहुल और तेंदुलकर की तुलना को गंभीरता से नहीं लेते।
केएल राहुल ने दिल्ली कैपिटल्स (DC) में मिश्रित प्रदर्शन किया है, जहां उन्हें IPL 2025 की मेगा नीलामी में 14 करोड़ रुपये में खरीदा गया था। राहुल टीम के सबसे बड़े रन-स्कोरर हैं और IPL 2025 में 500 रन के आंकड़े को पार करने वाले बल्लेबाजों में से एक हैं। लेकिन DC ने इस टूर्नामेंट में अपने फॉर्म में नाटकीय गिरावट का सामना किया है, जिसके परिणामस्वरूप वे टूर्नामेंट से बाहर हो गए हैं।
दिल्ली कैपिटल्स ने अपने पहले चार मैच जीतने के बाद पिछले नौ मैचों में से छह हारकर टूर्नामेंट से बाहर होने का सामना किया। यह उनकी निरंतरता की कमी को दर्शाता है। जब भी राहुल अच्छा प्रदर्शन करते हैं, टीम के अन्य बल्लेबाजों ने अपेक्षित रूप से रन नहीं बनाए हैं, जिससे टीम की स्थिति और भी खराब हुई है।
रन-स्कोरिंग के मामले में, राहुल के अलावा केवल एक अन्य बल्लेबाज, विकेटकीपर अभिषेक पोरेल, DC के लिए 300 रन के आंकड़े को पार कर पाया है। टीम में लगातार बदलाव और बल्लेबाजी क्रम में प्रयोग ने उनकी स्थिति को और चुनौतीपूर्ण बना दिया है। इससे टीम की जीत की संभावनाएं भी प्रभावित हुई हैं।
वासन ने केएल राहुल की तकनीक के बारे में बात करते हुए कहा, “वह बलशाली खेल पर निर्भर नहीं करते, बल्कि अपनी तकनीक पर भरोसा करते हैं। जब वह अपने फॉर्म, आकार, और तकनीक को बनाए रखते हैं, तो वह आत्मविश्वास के साथ जोखिम भरे शॉट्स को अंजाम दे सकते हैं।” यह बात उनके खेल के गहरे पहलुओं को उजागर करती है।
राहुल की तकनीकी क्षमता और उनके खेल में स्थिरता की आवश्यकता है। उन्हें अपनी आक्रामकता को संतुलित करना होगा, ताकि वे टीम को जीत दिलाने में सफल हो सकें। यह देखना दिलचस्प होगा कि अगले मैचों में राहुल अपनी भूमिका को कैसे निभाते हैं और टीम को आगे बढ़ाने में मदद करते हैं।
क्रिकेट के प्रशंसक और विशेषज्ञ सभी इस बात पर ध्यान दे रहे हैं कि केएल राहुल का प्रदर्शन आने वाले मैचों में कैसा रहेगा। क्या वह अपने खेल में सुधार कर पाएंगे, या दिल्ली कैपिटल्स को एक बार फिर से निराश करेंगे? यह सवाल सभी के मन में घूम रहा है।